Shri Ganesh Ji ki Aarti | श्री गणेश जी की आरती

Shri Ganesh Ji ki Aarti
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श्री गणेश जी की आरती

नमस्ते दोस्तों, आज हमने इस पोस्ट में Shri Ganesh Ji ki Aarti, (श्री गणेश जी की आरती) का उल्लेख करेंगे। भगवान श्री गणेश की पूजा अर्चना करने से सभी विघ्न-बाधाएं दूर हो जाती है। हिंदू धर्म में किसी भी शुभ काम को करने से पहले भगवान श्री गणेश की पूजा अर्चना करनी बेहद जरूरी होती है।

हिंदू धर्म में किसी भी शुभ काम को करने से पहले भगवान श्री गणेश की पूजा-अर्चना करनी बेहद जरूरी होती है।भगवान श्री गणेश सभी देवताओं में पूजनीय है। शास्त्रों के अनुसार भगवान श्री गणेश की पूजा अर्चना करने से सभी विघ्न-बाधाएं हमेशा के लिए दूर हो जाती हैं। भगवान श्री गणेश को एकदंत के नाम से भी पुकारा जाता है। वहीं उनको व‍िघ्‍नहर्ता का नाम भी दिया गया है।

गणपत‍ि बप्‍पा को आरती में भोग जरूर लगाएं। गणपति को मोदक सबसे प्र‍िय माने जाते हैं। इसके अलावा मोतीचूर का लड्डू, नारियल वाले चावल, पूरण पोली, केले का शीरा, हलवा आद‍ि का भोग भी लगा सकते हैं।

Shri Ganesh Ji ki Aarti

जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा .
माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा ॥
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा ॥


एक दंत दयावंत, चार भुजाधारी .
माथे पे सिंदूर सोहे, मूसे की सवारी ॥
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा ॥


अंधन को आंख देत, कोढ़िन को काया .
बांझन को पुत्र देत, निर्धन को माया ॥
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा ॥


हार चढ़ै, फूल चढ़ै और चढ़ै मेवा .
लड्डुअन को भोग लगे, संत करे सेवा ॥
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा ॥

दीनन की लाज राखो, शंभु सुतवारी .
कामना को पूर्ण करो, जग बलिहारी ॥
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा ॥

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